Home धर्म पितृपक्ष से 15 दिन पहले रखें इन बातों का ध्यान, भूलकर भी...

पितृपक्ष से 15 दिन पहले रखें इन बातों का ध्यान, भूलकर भी न खाएं ये चीजें, नाराज हो सकते हैं पूर्वज

9
0
Spread the love

17 सितंबर से पितृपक्ष की शुरुआत हो रही है जो 2 अक्टूबर तक चलेगी. कहा जाता है पितृपक्ष ऐसा समय है जब हम अपने पूर्वजों को प्रसन्न कर सकते हैं. हालांकि, इस दौरान कई बातों का विशेष रूप से ख्याल रखना भी बेहद जरूरी है. पितृपक्ष में कुछ चीजों का सेवन करना वर्जित माना गया है. श्रद्धालु सबसे पहले इस बात का ख्याल रखें कि जो व्यक्ति श्राद्ध क्रिया करते हैं उसे बाहर के खाने का सेवन नहीं करना चाहिए. उस व्यक्ति को 16 दिनों तक सात्विक भोजन ही करना चाहिए. धार्मिक दृष्टि से बाहर का खाना अशुद्ध माना जाता है.

इस संबंध में जानकारी देते हुए गया वैदिक मंत्रालय पाठशाला के पंडित राजा आचार्य बताते हैं कि श्राद्ध के इस 16 दिन तक लोग अपने मृत पूर्वजों के लिए पूजा का आयोजन कर उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना करते हैं. गया श्राद्ध पर आने वाले तीर्थ यात्री को 15 दिन पहले से ही कुछ चीजों का पालन करना होता है जिसमें इस दौरान तामसिक गतिविधियों में शामिल नहीं होना चाहिए. इन दिनों प्याज, लहसुन, अंडा और मांस खाने से बचना चाहिए. यह समय धार्मिक कार्यों के लिए विशेष माना जाता है.

इन चीजों से रहे दूर
इन दिनों ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए. बाल कटवाने, नाखून काटने और शेविंग करने से भी बचना चाहिए. किसी के साथ गलत व्यवहार न करें. किसी से उधार न लें. छल कपट न करें. संयम और सदाचार में रहें. राजा आचार्य बताते हैं कि अगर पुत्र गया श्राद्ध में जाता है तो पितृ उत्सव मनाने लगते हैं. पितृ पक्ष में पितृ गया पहुंच जाते हैं और अपने पुत्र का इंतजार करते हैं कि कब वह गया आ रहे हैं और इनका पिंडदान करेगा. पितृ पक्ष में अपने पूर्वजों का पिंडदान के लिए गया जी आ रहे हैं तो सपरिवार यहां पहुंचे और उन्हें भी पितरों का विशेष अनुग्रह आशीर्वाद मिलेगा. पूर्वजों को मृत्यु चक्र से मुक्ति दिलाने के इस अनुष्ठान के बीच किसी तरह की बाधा उत्पन्न न हो इसलिए लहसुन प्याज या मांसाहार का सेवन नहीं किया जाता. ऐसा माना जाता है इस दौरान इन रीति रिवाजों का सही ढंग से अनुसरण न करने पर पूर्वज नाराज हो सकते हैं जिसके बाद कई बार पितृ दोष स्थिति का सामना करना पड़ता है. पितृपक्ष के दौरान मुख्य रूप से दाल, चावल, हरी सब्जी का सेवन करना चाहिए. इस दौरान बैंगन, टमाटर, कोहडा खाना निषेध माना जाता है.