Home व्यापार FDI की मंजूरी के साथ सिंगापुर एयरलाइंस का विलय समझौता जल्द होगा...

FDI की मंजूरी के साथ सिंगापुर एयरलाइंस का विलय समझौता जल्द होगा पूरा 

13
0
Spread the love

सिंगापुर एयरलाइंस को विस्तारा-एयर इंडिया के बीच विलय समझौते के लिए प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की मंजूरी मिल गई है। सरकार की तरफ से मंजूरी मिलने के बाद सिंगापुर एयरलाइंस विलय समझौते के तहत 25.1 प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल करेगी। रिपोर्ट्स के अनुसार, अब इस समझौते के इस साल के अंत तक पूरा होने की उम्मीद है। प्रस्तावित विलय की घोषणा नवंबर 2022 में की गई थी। इस विलय के बाद जो एयरलाइंस बनेगी, वह दुनिया के सबसे बड़े एयरलाइन समूहों में से एक होगी।

इस साल के अंत तक सौदा पूरा होने की उम्मीद

एयर इंडिया का स्वामित्व टाटा समूह के पास है और विस्तारा का स्वामित्व टाटा और सिंगापुर एयरलाइंस दोनों के पास है और दोनों की इसमें 51:49 प्रतिशत की हिस्सेदारी है। शुक्रवार को सिंगापुर एयरलाइंस ने सिंगापुर स्टॉक एक्सचेंज में एक नियामक फाइलिंग में बताया कि उसे प्रस्तावित विलय के हिस्से के रूप में विस्तारित एयर इंडिया में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) के लिए भारत सरकार से मंजूरी मिल गई है। सिंगापुर एयरलाइंस ने कहा कि प्रस्तावित विलय के 2024 के अंत तक पूरा होने की उम्मीद है।

पहले विस्तारा-एयर इंडिया विलय समझौते के 31 अक्टूबर, 2024 तक पूरा होने की उम्मीद थी। इस सौदे को जून में नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (NCLT) द्वारा अनुमोदित किया गया था। मार्च में, सिंगापुर के प्रतिस्पर्धा नियामक CCCS ने प्रस्तावित सौदे के लिए सशर्त मंजूरी दी थी। इससे पहले सितंबर 2023 में इस सौदे को भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) से कुछ शर्तों के साथ मंजूरी मिल गई थी। 

इस तारीख तक ही विस्तारा ब्रांड के तहत होगा विमानों का संचालन

विस्तारा एयरलाइंस 11 नवंबर को अपने ब्रांड के तहत आखिरी उड़ान संचालित करेगी और 12 नवंबर, 2024 से विस्तारा संचालन एयर इंडिया के साथ एकीकृत हो जाएगा। इसके बाद, विस्तारा विमानों का संचालन एयर इंडिया द्वारा किया जाएगा और इन विमानों द्वारा संचालित मार्गों के लिए बुकिंग एयर इंडिया की वेबसाइट पर पुनर्निर्देशित की जाएगी।

एयर इंडिया ने जताई खुशी

एयर इंडिया ने सिंगापुर एयरलाइंस को एयर इंडिया में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के लिए केंद्रीय मंत्रिमंडल की मंजूरी मिलने का स्वागत किया है। एयर इंडिया ने बयान में कहा कि 'यह एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है, जो विस्तारा और एयर इंडिया के बीच विलय प्रक्रिया और एयर इंडिया समूह में व्यापक परिवर्तन का रास्ता बनाएगा।'